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दिल्ली विश्वविद्यालय की अंतरराष्ट्रीय रैंकिंग में सुधार हुआ , अरबिंदो कॉलेज के प्रोफेसर हंसराज सुमन को इंटरनेशनल इनोवेटिव एजुकेशनल अवार्ड –2024 व पीएचडी की मानद उपाधि से किया गया सम्मानित ।

नई दिल्ली 8 सितंबर-:  सोक्रेटस सोशल रिसर्च यूनिवर्सिटी हर साल शिक्षकों के सम्मान में शिक्षा सम्मान व इंटरनेशनल इनोवेटिव एजुकेशनल अवार्ड प्रदान करती

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नई दिल्ली 8 सितंबर-:  सोक्रेटस सोशल रिसर्च यूनिवर्सिटी हर साल शिक्षकों के सम्मान में शिक्षा सम्मान व इंटरनेशनल इनोवेटिव एजुकेशनल अवार्ड प्रदान करती है । यूनिवर्सिटी के तत्वावधान में आयोजित यह कार्यक्रम विश्व युवा केन्द्र नई दिल्ली में इस वर्ष का इंटरनेशनल इनोवेटिव एजुकेशनल अवार्ड – 2024 व पीएडी की मानद उपाधि संसद टीवी के वरिष्ठ पत्रकार श्री मनोज वर्मा को दिया गया है । यह प्रतिष्ठित सम्मान अरबिंदो कॉलेज के प्रोफेसर हंसराज सुमन को भी दिया गया । श्री मनोज वर्मा को यह सम्मान उनकी समाजसेवा व पत्रकारिता के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान देने के लिए दिया गया है । मनोज वर्मा को यह सम्मान मुख्य अतिथि उत्तराखंड हाईकोर्ट के पूर्व जस्टिस राजेश टंडन , राज्यसभा सांसद श्री मिथलेश कठेरिया , डूटा के अध्यक्ष प्रोफेसर अजय कुमार भागी , प्रोफेसर अनिल अनेजा , प्रोफेसर पी.डी. सहारे व प्रोफेसर संजीव तिवारी ने उन्हें शॉल , पटका , स्मृति चिन्ह व प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया । कार्यक्रम की अध्यक्षता राज्यसभा सांसद श्री मिथलेश कठेरिया , मंच संचालन डॉ. नमिता जैन , डॉ. आलोक कुमार ने किया । इस अवसर पर डॉ.नाहर सिंह , प्रोफेसर मनोज केन , प्रोफेसर अरविंद कुमार , डॉ.आरआर बैग , डॉ.राम कुमार पालीवाल भी उपस्थित थे ।


यह सम्मान दिल्ली विश्वविद्यालय से संबद्ध कालिंदी कॉलेज की सहायक प्रोफेसर पल्लवी प्रियदर्शिनी , डॉ.स्वीटी कटारिया , राजनीति विज्ञान विभाग के डॉ. प्रशांत बर्थवाल , दिल्ली कॉलेज ऑफ कॉमर्स के डॉ. शशि कांत , हिंदी विभाग के डॉ.शिव मंगल कुमार , स्टार सवेरा के संपादक श्री बलवान सिंह बिबयान को इंटरनेशनल अवार्ड से सम्मानित किया गया । प्रोफेसर गीता सहारे ने अपने भाई रमेश चंद्रा की पीएचडी की उपाधि मरणोपरांत प्राप्त की । इस अवसर पर पूर्व एसएचओ विजय कुमार कटारिया को भी पीएचडी की मानन्द उपाधि प्रदान की गई । श्री मनोज वर्मा ने यूनिवर्सिटी द्वारा पीएचडी की मानद उपाधि व इंटरनेशनल इनोवेटिव एजुकेशनल अवार्ड -2024 के मिलने पर यूनिवर्सिटी के प्रति धन्यवाद ज्ञापित किया और कहा कि इस तरह के सम्मान देने से समाजसेवा के क्षेत्र में बदलाव आएगा , सामाजिक कार्यकर्ताओं को बल मिलेगा तथा लोगों को इससे प्रेरणा मिलेगी । उन्होंने कहा कि पत्रकारिता आज भी अपने मिशन से हटी नहीं है , मानते है कि पत्रकारिता प्रोफेशनलिज्म की ओर जा रही है लेकिन समाज के बुद्धिजीवियों का कर्तव्य है कि वह वर्तमान पत्रकारिता को व्यवसायिक बनने से बचाए और निडर व बेबाक होकर लिखे ।उन्होंने कहा कि आज भी लोग मुख्यधारा के मीडिया पर विश्वास करती है ।


इस अवसर पर सोक्रेटस सोशल रिसर्च यूनिवर्सिटी के चेयरमैन के. योगेश ने अपने संबोधन में बताया कि यह अवार्ड प्रति वर्ष उन समाजसेवी , शिक्षा , साहित्य , पत्रकारिता व वंचित समुदायों के हितों के लिए कार्य करने वाले महानुभावों को दिया जाता है जो अत्यंत पिछड़े, दलित समुदाय के संविधान प्रदत्त अधिकारों को दिलाने तथा राजनीतिक, सामाजिक, आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए निरंतर प्रयास कर रहे हैं । भारतीय समाज में पूरी तरह उपेक्षित कर दिए गए समूह को मुख्यधारा से जोड़ना का काम करने वालों को सम्मान देना हमारी यूनिवर्सिटी की प्राथमिकता है । विशिष्ट अतिथि प्रोफेसर अजय कुमार भागी ने कहा कि शिक्षा वह अस्त्र है जो व्यक्ति के जीवन में बदलाव लाती है , यह कार्य हमारे गुरू ही कर सकते हैं जो अपने शिष्यों को वर्तमान ज्ञान परम्परा के माध्यम से तथा राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अंतर्गत सुझाए गए नए मापदंडों को विश्वविद्यालय स्तरों पर सफलता पूर्वक क्रियान्वित करने का दायित्व सभी शिक्षाविदों पर है जिस प्रकार से दिल्ली विश्वविद्यालय में सभी विद्यार्थियों व शिक्षकों ने मिलकर राष्ट्रीय शिक्षा नीति को सफल बनाया है । उन्होंने कहा कि आज इसी सामुहिक प्रयास का परिणाम है कि डीयू की अंतरराष्ट्रीय रैंकिंग में सुधार हुआ है ।


राज्यसभा सांसद श्री मिथलेश कठेरिया ने अपने अध्यक्षीय वक्तव्य में कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में हो रहे नए अनुसंधानों की ओर महत्व दिया जाना चाहिए , इसके अलावा राष्ट्रीय शिक्षा नीति के विशिष्ट प्रावधानों को विश्वविद्यालय तथा महाविद्यालयों में सक्रिय रूप से क्रियान्वित किया जाना चाहिए ताकि शिक्षा के क्षेत्र में किसी प्रकार अवरोध पुनः उत्पन्न न हो सके । उन्होंने बताया कि जब से केंद्र में मोदी सरकार आई है उन्होंने शिक्षा , चिकित्सा व तकनीकी शिक्षा के क्षेत्र में कई महत्वपूर्ण बदलाव किए है । राष्ट्रीय शिक्षा नीति में बदलाव कर रोजगार के अवसर प्रदान किए हैं । इसके पश्चात शिक्षा में योगदान देने वाले व इंटरनेशनल इनोवेटिव एजुकेशनल अवार्ड -2024 दिए । यूनिवर्सिटी के चेयरमैन के योगेश ने बताया कि पिछले 35 वर्षों से श्री मनोज वर्मा हिन्दी पत्रकारिता के क्षेत्र में कार्य कर रहे हैं । इन्होंने हिन्दी समाचार पत्रों में राष्ट्रीय सहारा से अपने करियर की शुरूआत की और उसके बाद विभिन्न समाचार पत्रों व पत्रिकाओं में राष्ट्रीय , अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर लिखने पर अपनी पहचान बनाई । वर्तमान में मनोज वर्मा संसद टीवी में वरिष्ठ पत्रकार के रूप में कार्यरत है । उन्होंने बताया है कि मनोज वर्मा की विशेष दक्षता राजनीतिक पत्रकारिता में है । हमारी यूनिवर्सिटी ऐसे पत्रकार को पीएचडी की मानद उपाधि देकर व इंटरनेशनल अवार्ड देकर गौरान्वित हुई है

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